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छत्तीसगढ़

लिंचिंग और हत्या के आरोपियों का सरंक्षण और समर्थन असंवैधानिक


रायपुर/ मॉब लिंचिंग के आरोपियों के समर्थन में राजधानी के सिटी कोतवाली के थाने के घेराव पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए प्रदेश कांग्रेस संचार विभाग अध्यक्ष सुशील आनंद शुक्ला ने कहा है कि मॉब लिंचिंग की घटना सभ्य समाज के लिए कलंक है। भारतीय जनता पार्टी की सरकार में हत्या और लिंचिंग के आरोपियों के समर्थन में भाजपा और आरएसएस के अनुसंगिक संगठनों के द्वारा सिटी कोतवाली थाने का घेराव, साय सरकार की कानून व्यवस्था पर प्रश्न चिन्ह लगता है। भयमुक्त वातावरण प्रत्येक छत्तीसगढ़िया का अधिकार है, लेकिन साय सरकार आने के बाद से छत्तीसगढ़ अपराध गढ़ बन गया है। हत्या, लूट, डकैती, बलात्कार और मॉब लिंचिंग जैसी घटनाएं होने लगी है। कलेक्टर और एसपी दफ्तर भी सुरक्षित नहीं रहे। डबल इंजन की सरकार में छत्तीसगढ़ मणिपुर की तरह जल रहा है। अपराधी बेखौफ हैं, और अपराधियों के संरक्षण में जुलूस निकालकर थाने घेरे जा रहे हैं। कानून व्यवस्था पूरी तरह चरमरा गई। साय सरकार पूरी तरह से नाकाम हो गई है।

प्रदेश कांग्रेस संचार विभाग अध्यक्ष सुशील आनंद शुक्ला ने कहा है कि आरोपियों के समर्थन में दबाव बनाना संविधान और कानून का खुलेआम मखौल उड़ाने के समान है। मुख्यमंत्री और गृह मंत्री को सरकार की स्थिति स्पष्ट करना चाहिए। आरंग की घटना बेहद दुखद और निंदनीय है। तीन-तीन लोगों की हत्या होने के बाद भी 302 के स्थान पर 306 लगाना और उसके बाद अब गिरफ्तार किए गए आरोपीयों को रिहा करने अनुचित दबाव बनाने राजधानी में थाने का घेराव करना न नैतिकता है और ना ही संवैधानिक। सभ्य समाज में कानून के राज़ की अपेक्षा होती है, अराजकता फैलाना जंगल राज है।

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